इंडिगो फ्लाइट संकट: सरकार का सख्त एक्शन, 230 फ्लाइट्स पर असर, DGCA नया शेड्यूल मांगे
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DGCA के निर्देश और एयरलाइन कटौती.
इंडिगो फ्लाइट रद्दीकरण और रिफंड स्थिति.
वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा एयरपोर्ट पर निगरानी.
Delhi / देश की सबसे बड़ी एयरलाइन इंडिगो पिछले 8 दिनों से लगातार परिचालन संकट का सामना कर रही है। इस बीच सरकार ने भी एयरलाइन पर सख्त एक्शन लिया है। सोमवार को सिविल एविएशन मंत्रालय की हाई-लेवल मीटिंग में इंडिगो की 10% फ्लाइट्स में कटौती करने का निर्देश दिया गया। यह कटौती हाई-डिमांड और हाई-फ्रीक्वेंसी रूट्स पर की गई, जिससे रोजाना ऑपरेट होने वाली 2300 फ्लाइट्स में से लगभग 230 प्रभावित होंगी। इसके साथ ही, इंडिगो को बुधवार शाम 5 बजे तक DGCA को एक नया शेड्यूल जमा करने के निर्देश भी दिए गए हैं।
केंद्र सरकार ने इस स्थिति की जांच के लिए 10 बड़े एयरपोर्ट पर वरिष्ठ अधिकारियों को तैनात किया है। ये अधिकारी यात्रियों को हो रही परेशानियों का पता लगाएंगे। इन अधिकारियों में डिप्टी सेक्रेटरी, डायरेक्टर और जॉइंट सेक्रेटरी शामिल हैं। जिन एयरपोर्टों पर अफसर तैनात किए गए हैं, उनमें मुंबई, बेंगलुरु, हैदराबाद, कोलकाता, चेन्नई, अहमदाबाद, पुणे, गुवाहाटी, गोवा और तिरुवनंतपुरम शामिल हैं।
इंडिगो की फ्लाइट्स कैंसिल होने की समस्या मंगलवार को भी जारी रही। देशभर में 400 से अधिक उड़ानें रद्द की गईं। इंडिगो के CEO पीटर एल्बर्स ने कहा कि अब ऑपरेशन स्थिर है और लाखों ग्राहकों को उनका पूरा रिफंड मिल चुका है। उन्होंने बताया कि इंडिगो अपने नेटवर्क में 138 स्थानों पर वापस आ गया है और सरकार के साथ सहयोग कर रहा है। तमिलनाडु के चेन्नई इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर फ्लाइट्स कैंसिल होने से कई यात्री काउंटर्स पर खड़े दिखे।
इस ऑपरेशनल गड़बड़ी को लेकर ICSI ने इसे कॉर्पोरेट गवर्नेंस में कमी का उदाहरण बताया। संस्था ने कंपनियों से मजबूत गवर्नेंस अपनाने की अपील की ताकि भविष्य में जोखिम की समय पर पहचान और पारदर्शी कम्युनिकेशन संभव हो। ICSI के अध्यक्ष धनंजय शुक्ला ने कहा कि इंडिगो की घटना कॉर्पोरेट्स और प्रोफेशनल्स के लिए सबक है। उन्होंने जोर देकर कहा कि ऐसे ढांचे बनाने चाहिए जो शेयरहोल्डर वैल्यू के साथ पब्लिक का भरोसा भी बनाए रखें।
इंडिगो ने मंगलवार को अगरतला से पांच शेड्यूल्ड फ्लाइट्स कैंसिल कर दीं, जबकि बाकी छह शेड्यूल के अनुसार ऑपरेट हो रही हैं। एयरपोर्ट डायरेक्टर केएम नेहरा ने जानकारी दी कि कंपनी ने यात्रियों को रिफंड और सहायता प्रदान करने के लिए पूरी कोशिश की। इस पूरे घटनाक्रम से यह स्पष्ट हुआ कि इंडिगो जैसी बड़ी एयरलाइन के लिए भी नियमों का पालन, गवर्नेंस और यात्रियों की सुविधा सर्वोच्च प्राथमिकता होनी चाहिए।