ओडिशा बंद: छात्रा की आत्मदाह और महिलाओं पर हिंसा के विरोध में विपक्षी दलों का प्रदर्शन

Thu 17-Jul-2025,01:48 PM IST +05:30

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ओडिशा बंद: छात्रा की आत्मदाह और महिलाओं पर हिंसा के विरोध में विपक्षी दलों का प्रदर्शन Odisha बंद: छात्रा आत्मदाह कांड पर विपक्ष का प्रदर्शन
  • ओडिशा में 12 घंटे का बंद, छात्रा की आत्मदाह पर विरोध।

  • महिलाओं पर बढ़ती हिंसा के खिलाफ विपक्षी दलों का प्रदर्शन।

  • मंत्री के इस्तीफे और न्यायिक जांच की मांग तेज।

Odisha / Bhubaneshwar :

Bhubaneshwar / ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर गुरुवार को एक बार फिर विरोध और आंदोलन का केंद्र बन गई जब कांग्रेस के नेतृत्व में आठ विपक्षी दलों ने राज्यव्यापी 12 घंटे के बंद का आह्वान किया। यह बंद बालासोर के फकीर मोहन स्वायत्त कॉलेज की एक 20 वर्षीय छात्रा की आत्मदाह की घटना और राज्य में महिलाओं के खिलाफ बढ़ती हिंसा के खिलाफ बुलाया गया है। बंद सुबह 6 बजे शुरू हुआ और शाम 6 बजे तक चलेगा।

बंद के कारण भुवनेश्वर सहित राज्य के कई हिस्सों में सामान्य जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया। बस सेवाएं पूरी तरह ठप हैं, बाजार और दुकानें बंद हैं। राष्ट्रीय राजमार्ग-16 पर और मास्टर कैंटीन चौक जैसे अहम इलाकों में प्रदर्शनकारियों ने चक्का जाम कर दिया है, जिससे राजधानी में आवागमन बुरी तरह प्रभावित हुआ है। मास्टर कैंटीन चौक राज्य सचिवालय, रेलवे स्टेशन और हवाई अड्डे को जोड़ने वाला प्रमुख इलाका है, जहां भारी जाम की स्थिति बनी हुई है।

प्रदर्शनकारी मुख्य रूप से तीन मांगें रख रहे हैं—उच्च शिक्षा मंत्री सूर्यबंशी सूरज का इस्तीफा, छात्रा की आत्मदाह की घटना की न्यायिक जांच, और दोषियों को सख्त सजा। सीपीआईएम (लिबरेशन) के नेता महेंद्र परिदा ने मीडिया से बातचीत में बताया कि पीड़िता ने मुख्यमंत्री, शिक्षा मंत्री, सांसद, विधायक, कलेक्टर और पुलिस से कई बार शिकायत की थी लेकिन किसी ने उसकी मदद नहीं की। कॉलेज की आंतरिक शिकायत समिति ने आरोपी प्रोफेसर समीर साहू को बर्खास्त करने की सिफारिश की थी, लेकिन प्राचार्य ने इसका विरोध किया और छात्रा पर समझौते का दबाव डाला गया।

इस गंभीर उपेक्षा के कारण पीड़िता ने आत्मदाह जैसा गंभीर कदम उठाया, जो पूरे राज्य में आक्रोश का कारण बन गया है। विपक्ष का आरोप है कि भाजपा सरकार के शासनकाल में महिलाओं और बच्चों के खिलाफ अपराधों में लगातार वृद्धि हो रही है और राज्य सरकार इन घटनाओं को नजरअंदाज कर रही है।

ओडिशा प्रदेश कांग्रेस कमेटी के महासचिव प्रदीप महापात्रा ने कहा कि कांग्रेस, सीपीआई, सीपीआई (एम), सीपीआईएमएल, फॉरवर्ड ब्लॉक, समाजवादी पार्टी, राष्ट्रीय जनता दल और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी सहित आठ दलों ने बंद का समर्थन किया है। उनका कहना है कि यह बंद पूरी तरह शांतिपूर्ण है और जनता का भी व्यापक समर्थन मिल रहा है।

हालांकि, इस बंद से छात्रों और आम लोगों को परेशानी भी हो रही है। एक छात्र ने बताया कि उसकी प्रैक्टिकल परीक्षा थी, लेकिन बंद के कारण उसे पांच किलोमीटर पैदल चलकर परीक्षा केंद्र तक जाना पड़ा। परिवहन साधनों के बंद होने से बहुत से लोग कार्यालयों और अन्य स्थानों पर समय से नहीं पहुंच सके।

इस विरोध से साफ है कि राज्य में महिलाओं की सुरक्षा को लेकर लोगों की चिंताएं गंभीर हैं। प्रदर्शनकारियों की मांग है कि सरकार त्वरित और प्रभावी कार्रवाई करे, ताकि ऐसी घटनाएं दोबारा न हों और दोषियों को सख्त सजा मिल सके। राज्य की जनता अब यह देख रही है कि सरकार इन आवाज़ों को सुनती है या नहीं।