पुतिन भारत दौरा: दिल्ली से मॉस्को रवाना, भारत-रूस साझेदारी मजबूत

Fri 05-Dec-2025,10:51 PM IST +05:30

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पुतिन भारत दौरा: दिल्ली से मॉस्को रवाना, भारत-रूस साझेदारी मजबूत Vladimir-Putin-India-visit
  • पुतिन ने भारत-रूस संबंधों को सहयोगपूर्ण और मजबूत बताया।

  • राष्ट्रपति भवन में आयोजित भव्य रात्रिभोज में पीएम मोदी और राष्ट्रपति शामिल।

  • दौरे ने द्विपक्षीय सहयोग और साझेदारी को नई दिशा दी।

Delhi / Delhi :

Delhi / रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन दो दिन के भारत दौरे के बाद शुक्रवार रात दिल्ली से मॉस्को के लिए रवाना हो गए। इस दौरे के दौरान पुतिन और भारतीय नेतृत्व के बीच कई द्विपक्षीय और रणनीतिक मुद्दों पर चर्चा हुई। रवाना होने से पहले पुतिन ने भारत-रूस संबंधों को “साथ चलें, साथ बढ़ें” की साझेदारी बताया और भविष्य में सहयोग और सामरिक संबंधों को और मजबूत करने की उम्मीद जताई। उनका कहना था कि दोनों देशों के बीच परस्पर विश्वास और सहयोग हमेशा मजबूत रहा है और यह आगे भी जारी रहेगा।

पुतिन के सम्मान में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने राष्ट्रपति भवन में भव्य रात्रिभोज का आयोजन किया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत कई गणमान्य अतिथि भी उपस्थित रहे। रात्रिभोज के दौरान पुतिन और मोदी के बीच गर्मजोशी भरे संवाद भी देखे गए। समारोह की तस्वीरों में दोनों नेताओं को एक ही टेबल पर बैठे देखा गया, जो भारत और रूस के मजबूत राजनीतिक और रणनीतिक संबंधों का प्रतीक था।

राष्ट्रपति भवन में पुतिन के आगमन पर औपचारिक स्वागत भी किया गया। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने उन्हें हाथ मिलाकर स्वागत किया और उनकी भारत यात्रा की सराहना की। इस रात्रिभोज के दौरान दोनों देशों के बीच आर्थिक, सुरक्षा और अंतर्राष्ट्रीय मामलों पर विस्तृत बातचीत हुई। पुतिन ने भारत की स्थिर राजनीति और वैश्विक मंच पर भारत की भूमिका की सराहना की।

इस दौरे का उद्देश्य भारत और रूस के बीच द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूत करना, रणनीतिक सहयोग को बढ़ाना और भविष्य में दोनों देशों के बीच आर्थिक और तकनीकी साझेदारी को विस्तार देना था। रात्रिभोज के बाद पुतिन राष्ट्रपति भवन से मॉस्को के लिए रवाना हो गए। उनके भारत दौरे को दोनों देशों के बीच दोस्ताना और पारस्परिक सहयोग के दृष्टिकोण से अत्यंत महत्वपूर्ण माना गया।

इस दौरे ने भारत और रूस के बीच लंबे समय से चल रहे विश्वास और रणनीतिक साझेदारी को फिर से रेखांकित किया। पुतिन के साथ किए गए संवाद और रात्रिभोज की तैयारियों ने यह स्पष्ट किया कि दोनों देश न केवल राजनीतिक और आर्थिक रूप से बल्कि सांस्कृतिक और रणनीतिक मोर्चों पर भी गहरी साझेदारी बनाए रखना चाहते हैं।