पुतिन ने राजघाट पर गांधी को दी श्रद्धांजलि, रूसी भाषा में लिखा संदेश

Fri 05-Dec-2025,03:43 PM IST +05:30

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पुतिन ने राजघाट पर गांधी को दी श्रद्धांजलि, रूसी भाषा में लिखा संदेश
  • पुतिन ने भारत यात्रा के दूसरे दिन राजघाट पर गांधीजी को श्रद्धांजलि दी और विज़िटर्स बुक में रूसी भाषा में संदेश लिखा। मोदी-पुतिन वार्ता आज।

Delhi / New Delhi :

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने अपनी दो दिवसीय भारत यात्रा के दूसरे दिन नई दिल्ली स्थित राजघाट पहुंचकर भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि दी। यह पुतिन का राजघाट का तीसरा दौरा था, जहां उन्होंने बापू की समाधि पर पुष्प अर्पित किए और गांधीजी की शिक्षाओं को मानवता के लिए अमूल्य बताया।

सुबह राष्ट्रपति भवन में उन्हें दिए गए भव्य राजकीय सम्मान-21 तोपों की सलामी और गार्ड ऑफ ऑनर-के बाद पुतिन सीधे राजघाट पहुंचे। यहां उन्होंने राजघाट परिसर में मौन रखा, पुष्प अर्पित किए और इसके बाद विज़िटर्स बुक में रूसी भाषा में एक विशेष संदेश लिखा।

अपने संदेश में पुतिन ने गांधीजी को “महान दार्शनिक और मानवतावादी” बताते हुए कहा कि उनके विचार न सिर्फ भारत के लिए बल्कि पूरी दुनिया के लिए मार्गदर्शक हैं। उन्होंने लिखा कि “आज के भारतीय राज्य के संस्थापकों में से एक महान दार्शनिक और मानवतावादी महात्मा गांधी ने हमारी दुनिया के लिए नेतृत्व और मूल्यों पर अमूल्य योगदान दिया है।”

पुतिन ने आगे कहा कि स्वतंत्रता, करुणा, न्याय और परोपकार पर गांधीजी के विचार आज भी अत्यंत प्रासंगिक हैं। विशेष रूप से उन्होंने गांधीजी के उस दृष्टिकोण का उल्लेख किया जिसमें बापू ने एक “अधिक न्यायपूर्ण विश्व व्यवस्था” की कल्पना की थी।

रूसी राष्ट्रपति ने अपने संदेश में रूसी विचारक लियो टॉलस्टॉय और गांधीजी के ऐतिहासिक पत्राचार का भी जिक्र किया, जिसमें नए विश्व, मानवता, नैतिक मूल्यों और स्वतंत्रता पर चर्चा की गई थी। पुतिन ने लिखा कि “महात्मा गांधी ने वास्तव में उस नए, अधिक न्यायपूर्ण वर्ल्ड ऑर्डर की कल्पना की थी, जिसके सिद्धांत आज रूसी और भारतीय सहयोग में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं।”

राजघाट की यह यात्रा न केवल श्रद्धांजलि का प्रतीक थी, बल्कि रूस-भारत के बीच गहरे कूटनीतिक और सभ्यतागत संबंधों का भी संदेश दे रही थी। विशेषज्ञों के अनुसार, पुतिन का यह कदम उनकी भारत यात्रा के कूटनीतिक एजेंडे का एक अहम हिस्सा है, जो द्विपक्षीय संबंधों में भावनात्मक और ऐतिहासिक जुड़ाव को रेखांकित करता है।

राजघाट के बाद राष्ट्रपति पुतिन हैदराबाद हाउस के लिए रवाना हुए, जहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ उच्च स्तरीय द्विपक्षीय वार्ता आयोजित होनी है। इस बैठक में रक्षा, ऊर्जा, व्यापार, तकनीकी सहयोग और वैश्विक सुरक्षा पर प्रमुख चर्चाएँ होने की उम्मीद है।

भारत और रूस के बीच दशकों से चली आ रही रणनीतिक साझेदारी को देखते हुए यह यात्रा बेहद महत्वपूर्ण मानी जा रही है। विश्व राजनीति में बदलते समीकरणों के बीच यह यात्रा दोनों देशों के बीच सहयोग को और मजबूत करने की दिशा में अहम भूमिका निभाएगी।