पुतिन दौरे के बाद मोदी को नेतन्याहू–ट्रंप के फोन, रणनीतिक बातचीत से बढ़े संबंध
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पुतिन की यात्रा के बाद पीएम मोदी को नेतन्याहू और ट्रंप के फोन आए। रणनीतिक साझेदारी, क्षेत्रीय सुरक्षा, ट्रेड डील और वैश्विक शांति पर विस्तृत चर्चा हुई।
नेतन्याहू और मोदी की बातचीत में आतंकवाद के खिलाफ जीरो-टॉलरेंस और जल्द मुलाकात पर सहमति, भारत–इजरायल सहयोग मजबूत।
दिल्ली/ रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की हालिया भारत यात्रा के बाद वैश्विक कूटनीतिक हलचलों में तेजी आ गई है। पुतिन के दौरे के तुरंत बाद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को दो बड़े वैश्विक नेताओं इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के लगातार फोन आए। यह घटनाक्रम भारत की वैश्विक स्थिति और बदलते भू-राजनीतिक समीकरणों को दर्शाता है।
बुधवार को पहले इजरायल के प्रधानमंत्री नेतन्याहू ने पीएम मोदी को फोन कर दोनों देशों की रणनीतिक साझेदारी की प्रगति पर विस्तृत चर्चा की। दोनों नेताओं ने जल्द मुलाकात करने पर सहमति भी जताई। भारत-इजरायल रक्षा सहयोग, टेक्नोलॉजी पार्टनरशिप और आतंकवाद के खिलाफ साझा लड़ाई उनकी बातचीत के प्रमुख मुद्दे रहे।
इसके ठीक अगले दिन, गुरुवार को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने पीएम मोदी से फोन पर बातचीत की। यह बातचीत उस समय हुई जब दुनिया पुतिन की भारत यात्रा की चर्चा कर रही थी। पीएम मोदी ने X पर पोस्ट के जरिए इस कॉल की जानकारी देते हुए बताया, “राष्ट्रपति ट्रंप के साथ बहुत अच्छी और सार्थक बातचीत हुई। हमने द्विपक्षीय संबंधों में प्रगति की समीक्षा की और क्षेत्रीय व अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर भी चर्चा की।”
दोनों नेताओं ने वैश्विक शांति, स्थिरता और समृद्धि के लिए मिलकर काम जारी रखने पर जोर दिया।
ट्रंप–मोदी बातचीत का समय खास मायनों में महत्वपूर्ण है, क्योंकि रूस के साथ भारत की गहरी रणनीतिक साझेदारी पुतिन की यात्रा के दौरान और मजबूत हुई है। पुतिन की यात्रा में ऊर्जा सहयोग, रक्षा संबंध, आर्थिक पहुंच और बहुध्रुवीय विश्व पर विस्तृत चर्चा हुई थी। यह भारत की स्वतंत्र विदेश नीति का संकेत है जिसमें वह अमेरिका, रूस और अन्य देशों के साथ संतुलन बनाते हुए आगे बढ़ रहा है।
इस बीच भारत और अमेरिका के बीच चल रही ट्रेड डील पर भी बातचीत आगे बढ़ रही है। दोनों देशों के प्रतिनिधि दिल्ली में ट्रेड एग्रीमेंट को अंतिम रूप देने पर काम कर रहे हैं। ट्रंप ने हाल ही में संकेत दिया था कि जल्द ही भारत–अमेरिका के बीच महत्वपूर्ण ट्रेड डील फाइनल हो सकती है। ऊर्जा, रक्षा उत्पादन और टेक्नोलॉजी ट्रांसफर इस डील के प्रमुख क्षेत्र माने जा रहे हैं।
उधर, नेतन्याहू के फोन कॉल में भी आतंकवाद के खिलाफ सहयोग प्रमुख विषय रहा। पीएम मोदी ने कहा कि भारत "न्यायपूर्ण और स्थायी शांति" की दिशा में हर सकारात्मक प्रयास का समर्थन करता है। इससे स्पष्ट होता है कि पुतिन, ट्रंप और नेतन्याहू तीनों देशों के साथ भारत का संवाद एक नए कूटनीतिक संतुलन की ओर बढ़ रहा है।
इन लगातार उच्चस्तरीय संपर्कों से यह भी संकेत मिलता है कि भारत वैश्विक कूटनीतिक मंच पर अपनी भूमिका को और मजबूत कर रहा है। चाहे यह मध्य पूर्व का बदलता परिदृश्य हो, रूस-अमेरिका तनाव या हिंद-प्रशांत सुरक्षा ढांचा भारत अब हर महत्वपूर्ण मुद्दे का केंद्रीय भागीदार बन चुका है।